
ऑस्ट्रेलिया के पूर्व कप्तान इयान चैपल का मानना है कि भारतीय पिचों पर स्पिनरों के खिलाफ बचने का एकमात्र तरीका स्वीप शॉट खेलना नहीं है और इसकी जगह स्पिनरों के खिलाफ अच्छे प्रदर्शन के लिए बल्लेबाजों को अच्छे फुटवर्क की जरूरत होती है. ऑस्ट्रेलिया की भारतीय स्पिनरों के खिलाफ स्वीप शॉट खेलने की पूर्व नियोजित रणनीति बुरी तरह से विफल रही जिससे मेजबान टीम ने शुरुआती दो टेस्ट जीतकर बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी में 2-0 की बढ़त के साथ ट्रॉफी अपने पास रखना सुनिश्चित किया. अभी चार टेस्ट की श्रृंखला के दो मैच खेले जाने हैं. ध्यान दिला दें कि दिल्ली में जब तीसरे दिन ऑस्ट्रेलिया ने एक विकेट पर 62 रन से आगे खेलना शुरू किया. और देखते देखते उसकी पारी 113 पर सिमट गयी, तो इस पारी में उसके करीब छह बल्लेबाज ऐसे रहे, जो स्वीप या रिवर्स स्वीप शॉट खेलने की कोशिश में आउट हुए.
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चैपल ने एक वेबसाइट के लिए लिखे कॉलम में कहा, ‘नियमित रूप से स्वीप शॉट खेलना अच्छी स्पिन गेंदबाजी को खेलने का जवाब नहीं है और अगर कोई ऐसा कह रहा है तो वह अपने दिमाग से बात नहीं कर रहा.' उन्होंने कहा, ‘कुछ खिलाड़ी स्वीप शॉट खेलने में काफी अच्छे हो सकते हैं और उन्हें इस शॉट का फायदा उठाना चाहिए लेकिन अधिकतर खिलाड़ियों के लिए बेहतर तरीके मौजूद हैं. कोई भी अच्छा स्पिनर जो गेंद से उछाल हासिल करता है, वहां संभावना है कि लगातार स्वीप शॉट खेलने के खतरे को उजागर कर सकता है.'
ऑस्ट्रेलिया ने भारत दौरे से पहले सिडनी में विशेष रूप से तैयार पिचों पर तैयारी की और भारत में एक भी अभ्यास मैच नहीं खेलने का फैसला किया, लेकिन यह तैयारी कैसी निकली, यह शुरुआती दोनों टेस्ट के परिणाम से साफ देखा जा सकता है. चैपल ने लिखा, ‘आप भारत के महत्वपूर्ण दौरे से ठीक पहले ऑस्ट्रेलिया में विशेष रूप से तैयार पिचों पर अच्छी स्पिन गेंदबाजी को खेलना नहीं सीख सकते.' उन्होंने कहा, ‘आपको अच्छा फुटवर्क सीखना होगा-क्रीज से आगे निकलना या तेजी से बैकफुट पर जाना सीखना होगा- आपको छोटी उम्र में ऐसा करना होगा.'
ऑस्ट्रेलिया के इस पूर्व दिग्गज खिलाड़ी का मानना है कि पैट कमिंस और उनकी टीम ने सीरीज से पहले अपनी बल्लेबाजी रणनीति बनाने को लेकर गलती की. चैपल ने पहले दो टेस्ट में ऑस्ट्रेलिया के टीम चयन पर भी सवाल उठाए. उन्होंने कहा, ‘इस दौरे पर ऑस्ट्रेलिया के चयन में बिलकुल भी निरंतरता नहीं दिखी और कभी-कभी यह तर्कहीन था. क्रिकेट की दुनिया के कई आयोजन स्थलों पर ऑस्ट्रेलिया की टीम काफी अच्छी होगी, लेकिन भारत दौरे को लेकर चिंता काफी पहले शुरू हो जानी चाहिए थी.'
भारतीय कप्तान और सलामी बल्लेबाज रोहित शर्मा का उदाहरण देते हुए चैपल को लगता है कि स्पिन की अनुकूल भारतीय पिचों पर भाग्य के सहारे शुरुआती 10 मिनट तक टिके रहना महत्वपूर्ण है. चैपल ने कहा, ‘‘एक सफल खिलाड़ी को जल्द से जल्द पता करना होता है कि स्पिन की अनुकूल भारतीय पिच पर शुरुआती 10 मिनट कैसे बचा जाए और आशा करे कि भाग्य उसका साथ दे' पूर्व ऑस्ट्रेलियाई कप्तान ने लिखा, ‘अगर वह समझदारी से खेलते हैं जैसा कि रोहित शर्मा ने सीरीज के दौरान किया तो भारतीय पिचों पर बल्लेबाजी करना असंभव नहीं है.'
इस 79 वर्षीय ने भारत में स्पिन से निपटने के अपने तरीके को याद किया. उन्होंने कहा, ‘भारत में अच्छी स्पिन गेंदबाजी खेलने की मेरी धारणा पारंपरिक है, पांच दशक से अधिक पुराने अनुभवों के आधार पर. क्या वे सिद्धांत अभी भी काम कर सकते हैं? यदि उनका पालन किया जाता है, और समझदारी दिखाई जाती है तो वे कर सकते हैं.' चैपल ने कहा, ‘मुझे सिखाया गया कि अगर आप स्टंप हो जाओ, तो तीन इंच से नहीं तीन यार्ड से हो. यह शानदार सलाह थी जिसके बाद बताया गया कि विकेटकीपर पर ध्यान मत दो क्योंकि यदि आप ऐसा करते हैं तो आप गेंद को मिस करने के बारे में सोच रहे हैं.' उन्होंने कहा, ‘इन सुझावों और अपनी ट्रेनिंग के आधार पर मैंने भारत में अपने डिफेंस पर भरोसा किया. यदि आप नहीं करते हैं, जैसा कि मौजूदा ऑस्ट्रेलियाई टीम ने दिखाया है, तो आप आसानी से घबराकर खराब शॉट खेल सकते हैं.'
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